कोल्ड ड्रिंक सेहत के लिए हानिकारक होता है. लेकिन आज हम बात करेंगे कि क्या डाइट कोला भी बाकी नॉर्मल कोल्ड कोल्ड ड्रिंक के उतना ही खतरनाक और शरीर के लिए नुकसानदायक है. हाल ही में 15 सेहतमंद व्यक्तियों पर एक रिसर्च किया गया है. इस रिसर्च में 15 व्यक्ति को रोजाना खाने के साथ डाइट कोला और नॉर्मल कोला दिया गया. इस रिसर्च में देखा गया कि डाइट कोला या नॉर्मल कोला पीने के एक घंटे के बाद उनकी लार में इंसुलिन का लेवल बढ़ गया है. सबसे दिलचस्प बात यह है कि स्लाइवा में एक नैचुरल स्वीटनर होता है. जिसे एस्पार्ट्म कहते हैं.
क्या डाइट कोला से भी शुगर बढ़ सकती है?
कोल्ड ड्रिंक सिर्फ डायबिटीज वाले लोगों के लिए ही खतरनाक नहीं है बल्कि उन सभी लोगों के लिए जो अपने सेहत के लिए जागरूक हैं. ऐसा इसलिए क्योंकि कोल्ड ड्रिंक को ऐसे बेचा जाता है कि इसमें एकदम कैलोरी नहीं है. आर्टिफिशियल स्वीटनर है और एस्पार्टेम हैं. जिसके कारण इसे पीने से आपके ब्लड में शुगर का लेवल नहीं बढ़ेगा. इंसुलिन की आवश्यकता नहीं होगी. तो सवाल यह है कि इसे पीते ही फिर इंसुलिन आ कहां से रहा है. डाइट कोला में कार्बोहाइड्रेट नहीं होते हैं क्योंकि उसमें जीरो कैलरी होती है. लेकिन क्या कोला पीने से शरीर में दूसरी चीजें ट्रिगर हो सकती है. आर्टिफिशियल स्वीटनर से शरीर में इंसुलिन प्रतिरोध बढ़ सकता है. साल 2017 में पब्लिश मैगजीना नेचर के मुताबिक एस्पोर्टेम ग्लूकेज के लेवल को बढ़ाता है. साथ ही आंतों में पाए जाने वाले बैक्टीरिया को भी नुकसान पहुंचाता है.
तो क्या डाइट कोला या नॉर्मल कोला पीना चाहिए?
यह इस बात पर निर्भर करता है कि आप कितना कोला पीते हैं? यदि कोई व्यक्ति हर रोजा कोला पीता है या डाइट कोला पीना पसंद करते हैं. तो उन्हें डाइट कोला पीना चाहिए. वैसे तो कोई भी कोला या कोल्ड ड्रिंक हेल्थ के लिए ठीक नहीं है. नॉर्मल कोला में काफी ज्यादा चीनी होती है. 500 मिलीलीटर में लगभग 12 चम्मच लेकिन डाइट कोला जीरो कैलोरी का वादा करता है. यह जीरो कैलोरी भी वह आर्टिफिशियल स्वीटनर का इस्तेमाल करती है. लेकिन इसके इंसुलिन प्रतिरोध और डायबिटीज जैसी बीमारी हो सकती है. आपकी जानकारी के लिए बता दें कि आर्टिफिशियल स्वीटनर, चीनी की तुलना में काफी ज्यादा मीठी होती है. इसलिए वह नॉर्मल मीठाइयों का स्वाद भी फीका कर देती है. और आपको लगता है कि इसे और खाना चाहिए. डायबिटीज या मोटे लोगों को डाइट कोला पी सकते हैं. जो व्यक्ति शरीर से ठीक है तो उन्हें रोजाना एक्सरसाइज करना चाहिए.
डाइट में आर्टिफिशियल शुगर का इस्तेमाल सही है?
वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन ने इस साल की शुरुआत में ही लाइफस्टाइल बेहतर करने के साथ-साथ, वजह घटाने और कई तरह की बीमारियों से बचने के लिए आर्टिफिशियल स्वीटनर के इस्तेमाल के खिलाफ चेतावनी दी थी. हालांकि यह न खाने से वजन में कुछ कमी और बॉडी मास इंडेक्स (बीएमआई) में कमी हो सकती है. क्योंकि आर्टिफिशियल शुगर शरीर की कैलोरी को कम कर देती है.
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