क्या है इरिटेबल मेल सिंड्रोम? जिसकी वजह से लड़कों को भी होती है ‘मूड स्विंग्स’ की प्रॉब्लम


Irritable Male Syndrome: पीरियड्स के दौरान महिलाएं अक्सर मूड स्विंग्स की प्रॉब्लम फेस करती हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि मूड स्विंग्स की प्रॉब्लम सिर्फ महिलाओं को ही नहीं, बल्कि पुरुषों को भी होती है? जी हां आप सही सुन रहे हैं. पुरुष भी इरिटेबल मेल सिंड्रोम के लक्षणों का सामना करते हैं. इरिटेबल मेल सिंड्रोम एक ऐसी कंडीशन है, जिसमें पुरुष चिड़चिड़ापन, घबराहट, डिप्रेशन और सुस्ती का सामना करते हैं. इस दौरान पुरुषों में हार्मोनल चेंजेस होते हैं, जिसकी वजह से उन्हें चिंता, क्रोध और निराशा जैसे अनुभव होते हैं.  

पुरुषों में टेस्टोस्टेरोन का लेवल कम होने की वजह से इरिटेबल मेल सिंड्रोम की दिक्कत पैदा होती है. इसे एंड्रोपॉज़ भी कहा जाता है. पुरुषों में बनने वाला टेस्टोस्टेरोन एक सेक्स हार्मोन है. 30 की उम्र से टेस्टोस्टेरोन का लेवल पुरुषों में धीरे-धीरे कम होने लगता है. इस हार्मोन का संबंध फिटनेस, एनर्जी, सेक्स ड्राइव और सेल्फ कॉन्फिडेंस से है. टेस्टोस्टेरोन का कम लेवल ही पुरुषों के मूड स्विंग्स का कारण बनता है. इरिटेबल मेल सिंड्रोम से पीड़ित पुरुष अक्सर भावनाओं में बदलाव जैसी चुनौतीपूर्ण स्थिति का सामना करते हैं. इसकी वजह से उनकी पर्सनल और प्रोफेशनल लाइफ में कठिनाइयां पैदा होती हैं. 

इरिटेबल मेल सिंड्रोम के लक्षण

1. गुस्सा और चिड़चिड़ापन
2. मूड स्विंग्स
3. इमोशन्स को एक्सप्रेस करने में दिक्कत 
4. अकेला रहना पसंद करना
5.  सिरदर्द
6. मांसपेशियों में तनाव
7. आंत से जुड़ी समस्याएं

इरिटेबल मेल सिंड्रोम से छुटकारा कैसे पाएं?

इरिटेबल मेल सिंड्रोम होने के पीछे कोई एक कारण नहीं है. कई कारक इस कंडीशन को पैदा करने का कारण बनते हैं. हालांकि इस समस्या से छुटकारा पाना इतना भी मुश्किल नहीं है. आइए जानते हैं कि इरिटेबल मेल सिंड्रोम से आप कैसे छुटकारा पा सकते हैं. 

  These 5 yoga asanas should be practiced daily during pregnancy - GoMedii | 5 Useful Yoga Poses for Pregnant Women in Hindi

1. मूड और बिहेवियर में होने वाले बदलावों के प्रति सचेत रहें. इस बात को समझने की कोशिश करें कि इसका प्रभाव कब आप पर पड़ सकता है.

2. अपने इमोशन्स में हो रहे बदलावों को समझें. अपने किसी करीबी दोस्त से इस बारे में बात करें.

3. अपने इमोशन्स पर काबू पाने के लिए योग, एक्सरसाइज का सहारा लें. माइंडफुलनेस मेडिटेशन में शामिल हों. अपनी कोई मनपसंदीदा एक्टविटी करें.  

4. एक्सरसाइज रोजाना करें. हेल्दी और बैलेंस फूड डाइट लें. 

Disclaimer: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों और सुझाव पर अमल करने से पहले डॉक्टर या संबंधित एक्सपर्ट की सलाह जरूर लें.

ये भी पढ़ें: शरीर की सारी गंदगी निचोड़ लेता है करेला, रोज खाने से सेहत को मिलते हैं ये फायदे

Check out below Health Tools-
Calculate Your Body Mass Index ( BMI )

Calculate The Age Through Age Calculator



Source link

Leave a Comment