क्या आप जानते हैं की एनीमिया एक खून से सम्बंधित बीमारी हैं, जो की शरीर में खून की कमी के कारण हो जाती हैं। इस बीमारी के होने के कई कारण माने जाते हैं ज्यादातर इस बीमारी का शिकार महिलाये होती हैं। डॉक्टर के अनुसार एनीमिया होने का कारण आयरन की कमी माना जाता हैं तथा हीमोग्लोबिन की कमी के कारण भी यह बीमारी हो सकती हैं। एनीमिया को कुछ हद तक सामान्य बीमारी की तरह समझा जाता हैं परन्तु इसके बढ़ने पर परेशानी हो सकती हैं इसलिए इस बीमारी का पता चलते ही डॉक्टर से संपर्क करे।
एनीमिया के कई प्रकार होते हैं जैसे की –
- आयरन की कमी से होने वाला एनीमिया।
- विटामिन की कमी से एनीमिया पीड़ित।
- थैलेसीमिया।
- अप्लास्टिक एनीमिया।
- सिकल सेल एनीमिया।
एनीमिया के लक्षण सभी व्यक्ति में समान नहीं होते वह हर व्यक्ति में भिन्न नज़र आते हैं और कई बार तो इस बीमारी के लक्षण दिखते ही नहीं परन्तु डॉक्टर के अनुसार कुछ लक्षण होते हैं जैसे की –
- कमजोरी और थकान
- चक्कर आना तथा बेहोसी जैसा महसूस होना।
- सिर दर्द और छाती में दर्द होना।
- सांस लेने में तकलीफ होना।
- हाथों का और पैरो का ठंडा होना।
- दिल की धड़कन का असामान्य होना।
शुरुआत में एनीमिया के लक्षण नज़रअंदाज़ होने लगते हैं परन्तु जैसे – जैसे एनीमिया गंभीर होता हैं लक्षण गंभीर होते चले जाते हैं तथा अधिक परेशानी होने लगती हैं इसलिए शुरुआत में ही इसके लक्षण नज़र आने पर डॉक्टर से संपर्क करे।
एनीमिया होने के कारण क्या होते हैं ? (Anemia hone ke Karan Kya hote Hain in Hindi)
एनीमिया कई अलग – अलग कारणों से विकसित हो सकता हैं। इसके सबसे आम कारणों मैं निम्न को शामिल किया हैं जैसे की –
- खून की कमी होने से एनीमिया की बीमारी होती हैं।
- लाल रक्त कोशिकाओं की आकृति सामान्य न होना।
- किसी अन्य बीमारी के कारण लाल रक्त कोशिकाएं नष्ट होना उससे भी एनीमिया हो सकता हैं।
- हाइपोथायराइडिज्म
- इन्फेक्शन
इस सब कारणों तथा बीमारियों से शरीर में व हार्मोन बनना बंद हो जाते हैं जो लाल रक्त कोशिकाओं के विकसित होने के लिए जरुरी होता हैं। यदि किसी व्यक्ति एनीमिया जैसी बीमारी का सामना करना पड़ता हैं तो वह अपना इलाज पूर्णरूप से तथा दवाइयों और खानपान के लिए डॉक्टर से परामर्श ले।
एनीमिया के चरण कितने होते हैं ? (Anemia ki stage kitni Hoti Hain in Hindi)
स्टेज 1 – यह एनीमिया का पहला चरण है, जिसमें शरीर में आयरन व फेरिटिन लेवल कम हो जाते हैं। इस स्टेज में आमतौर पर लक्षण बहुत ही कम महसूस हो पाते हैं।
स्टेज 2 – एनीमिया के इस चरण में ट्रांसफरिन लेवल कम हो जाता है, जिससे शरीर में आयरन का संचार कम हो जाता है। साथ ही इस स्थिति में हीमोग्लोबिन भी कम हो जाता हैं।
स्टेज 3 – आयरन-डिफिशिएंसी एनीमिया की तीसरी स्टेज में लाल रक्त कोशिकाएं आकार में छोटी पड़ जाती हैं। इस चरण में व्यक्ति को गंभीर रूप से थकान और सिरदर्द होता है और साथ ही उसकी प्रतिरक्षा प्रणाली भी कमजोर पड़ जाती है।
एनीमिया का इलाज अस्पताल में किस प्रकार होता हैं ?
डॉक्टर्स के अनुसार एनीमिया का इलाज कई प्रकार से हो सकता हैं परन्तु वह एनीमिया की स्टेज और कारण पर निर्भर करता हैं एनीमिया का कारण पता लगने के बाद ही डॉक्टर्स इसका इलाज करते हैं –
- यदि एनीमिया आयरन की कमी के कारण हुआ हो तो उसके लिए डॉक्टर आयरन और विटामिन सी की दवाइयों का सेवन करने की सलाह देते हैं और साथ ही आयरन की मात्रा बढ़ाने के लिए खानपान में भी बदलाव करने के लिए कहते हैं।
- महिलाओं को मासिक धर्म के कारण एनीमिया होता हैं तो डॉक्टर उन्हें सर्जरी की सलाह देते हैं।
- पुराणी बीमारी से पीड़ित हुए एनीमिया का इलाज सिंथेटिक हार्मोन का इंजेक्शन का उपयोग लाल रक्त कोशिका के उत्पादन को बढ़ाने और थकान को दूर करने के लिए किया जाता हैं।
- अस्थि मज्जा रोग से जुड़ा हुआ एनीमिया होता हैं तो डॉक्टर उसे कीमोथेरपी और दवा द्वारा ठीक करने की कोशिश करते हैं।
एनीमिया के इलाज के लिए बेस्ट अस्पताल। (Best hospital for Anemia Treatment in Hindi)
एनीमिया के इलाज के लिए गुरुग्राम के बेस्ट अस्पताल –
- नारायण सुपर स्पेशलिटी अस्पताल , गुरुग्राम
- मेदांता द मेडिसिटी , गुरुग्राम
- फोर्टिस हेल्थकेयर लिमिटेड , गुरुग्राम
- पारस अस्पताल , गुरुग्राम
एनीमिया के इलाज के लिए दिल्ली के बेस्ट अस्पताल –
एनीमिया के इलाज के लिए ग्रेटर नोएडा के बेस्ट अस्पताल –
- शारदा अस्पताल ,ग्रेटर नोएडा
- यथार्थ अस्पताल , ग्रेटर नोएडा
- बकसन अस्पताल ग्रेटर नोएडा
- जेआर अस्पताल ,ग्रेटर नोएडा
- प्रकाश अस्पताल ,ग्रेटर नोएडा
- शांति अस्पताल , ग्रेटर नोएडा
- दिव्य अस्पताल , ग्रेटर नोएडा
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एनीमिया से बचने के कुछ उपाय –
- यदि कोई महिला मासिक धर्म के दौरान भारी रक्तस्त्राव का सामना कर रही हो तो उन्हें डॉक्टर्स से संपर्क करना चाहिए।
- आयरन युक्त खाद्य पदार्थ का सेवन करें।
- भोजन में संतुलित आहार को शामिल करें।
- भोजन के साथ कॉफी या चाय पीने से बचें। ये पेय शरीर में आयरन के अवशोषित (Absorption) को बाधित कर सकते हैं।
- अगर कोई कैल्शियम की गोलियां लेता हैं, तो उसे अपने डॉक्टर से बात करनी चाहिए। कैल्शियम शरीर में आयरन के अवशोषण (Absorption) में बाधा डाल सकता है।
- यदि आप एनीमिया की कमी से बचना चाहते है तो एक गिलास नींबू पानी में शहद मिलालें उसके बाद इसे पिएं, ऐसा करने से आपको इसका फायदा होगा और कुछ ही दिनों में दिखने लगेगा।
- यदि आप खून की कमी से बचना चाहते है तो अपने भोजन में चने और गुड़ का अधिक सेवन करें ये आपकी हीमोग्लोबिन बढ़ाने में मदद करेगा।
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